आज शहर में मानवता का अद्भुत नजारा देखने को मिला यहां आज इंसान इंसान की मदद करने से कतरा रहा वही एक बंदर मानवता की मिसाल कायम कर समाज को आईना दिखाने की कोशिश की शहर की पुरानी जेल नदी चौराहे पर दीवार पर बैठे बंदर पेड़ पर से छलांग मारते समय हाई टेंशन पावर लाइन की चपेट में आने से सुलझ गया साथ ही बंदर भी उसके पीछे था उसने जब अपने साथी को करंट लगते हुए देख उसे नीचे पड़े हुए देखा तो तुरंत नीचे आया और अपने साथी को उठाकर रोड पर बैठ गया सामने ही थोड़ी दूरी पर जिला पशु चिकित्सालय था वह बंदर मृतक बंदर को लेकर पहुंचा गेट के ऊपर बैठ गया काफी देर तक वहां उसको गले लगा रहा कभी डॉक्टर की ओर देखता कभी हॉस्पिटल की ओर देखता पर किसी भी व्यक्ति ने उसके पास जाने की हिम्मत नहीं की कभी वह दवाई के लिए डॉक्टरों की तरफ ढूंढता तो कभी पानी की बॉटल उठाता बार-बार अपने साथी को उठाता हॉस्पिटल की ओर जाता रहा अंत में कोई भी नहीं आया